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नाम अच्छा नहीं पर देश का नम्बर वन थाना बना ‘कालू’

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0देशभर के 15666 थानों के बारे में मिले फीडबैक के आधार पर केंद्रीय गृह मंत्रालय ने बीकानेर के कालू पुलिस स्टेशन को सबसे बेहतर थाने का दर्जा दिया है। कालू थाने में पुलिसकर्मियों के लिए सभी बुनियादी सुविधाओं के साथ ही अलग से महिला हेल्प डेस्क, पीने के पानी और ऑनलाइन एफआईआर की सुविधा है।
0राजस्थान में बीकानेर का कालू पुलिस थाना देशभर के सभी थानों में अव्वल
0केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा देशभर के 15,666 थानों में कालू थाना नंबर वन
0यहां बैडमिंटन कोर्ट के अलावा महिलाओं के लिए अलग हेल्प डेस्क सुविधा
0पश्चिम बंगाल का फरक्का पुलिस स्टेशन इस लिस्ट में तीसरे नंबर पर काबिज
बीकानेर

राजस्थान के बीकानेर का कालू पुलिस स्टेशन। परेशान और भीषण गर्मी में पसीने से तर एक युवक अपनी शिकायत लेकर यहां पहुंचता है। शिकायत दर्ज करने से पहले उसे एक पुलिसकर्मी उन्हें पानी ऑफर करता है। शिकायत दर्ज होने के साथ ही चाय के बारे में उनसे पूछा जाता है। ऐसे समय में जबकि देश के ज्यादातर थाने शिकायतकर्ता के प्रति उपेक्षा भाव और शिकायत दर्ज करने में कोताही के लिए जाने जाते हैं, राजस्थान का यह पुलिस थाना अपने आप में एक मिसाल है। यही वजह है कि केंद्रीय गृह मंत्रालय द्वारा देशभर के 15,666 थानों के बारे में मिले फीडबैक के आधार पर कालू पुलिस स्टेशन को पहली रैंक हासिल हुई है।
कालू पुलिस थाने की खासियत पर बात करें तो यहां का परिसर आपको देश के अन्य थानों की अपेक्षा काफी साफ- सुथरा मिलेगा। अक्सर थाने पान की पीकों से तर-बतर दिखते हैं, पर यहां आपको ऐसा नहीं दिखेगा। इतना ही नहीं इस थाने में बैडमिंटन कोर्ट, महिलाओं के लिए अलग हेल्प डेस्क और आने वाले फरियादियों या उनके अभिभावकों को बैठने के लिए भी बेहतर व्यवस्था है।
पूरी तरह डिजिटल है थाना

थाना परिसर में 8 सीसीटीवी कैमरे लगे हुए हैं, जिसकी लगातार निगरानी होती रहती है। एसएचओ देवी लाल ने हमारे सहयोगी टाइम्स ऑफ इंडिया से बातचीत में कहा, ‘सीसीटीवी फुटेज के जरिए किसी भी संदिग्ध गाड़ी पर मेरी नजर पड़ती है तो तुरंत मैं राजस्थान पुलिस ऐप के जरिए उसकी डिटेल निकालकर उसकी पड़ताल करने की कोशिश करता हूं। यह पूरी तरह से डिजिटल पुलिस स्टेशन है। यहां ऑनलाइन एफआईआर के साथ चार्जशीट ऑनलाइन अपडेट की भी सुविधा है।’
फरियादियों से आदर भाव
शिकायतकर्ताओं के दुख को कम करने के लिए यहां तैनात पुलिसकर्मियों को सख्त निर्देश है कि वे उनके साथ बहुत ही आदर भाव से पेश आएं। इसी क्रम में पानी और चाय उपलब्ध कराने का निर्देश है। एएसआई गिरिधर लाल कहते हैं, कई बार जब फरियादी काफी दूर से आते हैं तो हम उन्हें खाना भी उपलब्ध कराते हैं।
इस आधार पर तय हुई रैंकिंग

बता दें कि अपराधों पर रोकथाम, जांच, मामलों का निपटारा, कम्यूनिटी पुलिसिंग और कानून-व्यवस्था बनाए रखने जैसे मापदंडों के आधार पर इस रैंकिंग को तय किया गया है, जिसमें कालू थाना देशभर में अव्वल है। यह थाना इसलिए भी अव्वल हो पाया है कि यहां तैनात हर पुलिसकर्मी हर जगह अपना सौ फीसदी देने की कोशिश करता है।
सभी सुबह 6.30 बजे पहुंच जाते हैं थाने
एसएचओ कहते हैं, ‘हम सभी यहां सुबह 6.30 बजे ही पहुंच जाते हैं। इसके बाद हमारा काम थाने की साफ-सफाई का होता है। टेबल- कुर्सी के साथ ही परिसर में कहीं भी गंदगी या धूल हो तो उसे साफ करना हम सबकी जिम्मेदारी है और सभी उसे बखूबी निभाते हैं। इसके अलावा कम्युनिटी पुलिसिंग भी इस थाने का मजबूत पक्ष है।’
इस थाने में जिम और खेल मैदान भी
कालू स्टेशन के अलावा पश्चिम बंगाल के मुर्शिदाबाद जिले का फरक्का पुलिस स्टेशन देश के सर्वश्रेष्ठ पुलिस थानों की लिस्ट में तीसरे नंबर पर है। यह थाना पूरी तरह से वातानूकुलित है। यही नहीं यहां वाई-फाई की सुविधा के साथ ही जिम और खेलने का मैदान भी है, जो लोगों के लिए खुला रहता है। इतना ही नहीं तीन महीने पहले इस पुलिस थाने में बच्चों के लिए कंप्यूटर कोचिंग की भी शुरुआत हुई है। प्रभारी इंस्पेक्टर उदय शंकर घोष कहते हैं, इस थाने की सफलता यहां के लोगों की वजह से भी है। उनका पूरा समर्थन मिलता है। यही वजह है कि पिछले कुछ वर्षों में हमने 80 बाल विवाह को रोकने में कामयाबी पाई है।

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