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गुजरात में बचेगा BJP का राज, क्या हिमाचल में भी बदलेगा रिवाज?

Politics

अहमदाबाद\शिमला: गुजरात और हिमाचल प्रदेश में हुए विधानसभा चुनावों के नतीजे गुरुवार को घोषित किए जाएंगे। 27 साल से गुजरात में बीजेपी सत्ता में है। गुरुवार के नतीजे देखने के लिए आप हमसे जुड़े रहें। हम न केवल आंकडे़ बताएंगे बल्कि उनका बारीकी से विश्लेषण भी करेंगे। खबरों के साथ-साथ हम चुनाव नतीजों पर विश्लेषण भी पेश करते रहेंगे। हमारे फेसबुक पेज और यूट्यूब चैनल पर विशेषज्ञों से लाइव बातचीत भी देख सकते हैं। आपको यहां चुनाव परिणामों के मायने समझने में मदद मिलेगी। हमारे ट्विटर पेज पर भी नतीजों के हर बड़े अपडेट्स मिलते रहेंगे।

आम आदमी पार्टी ने भी गुजरात में पूरी ताकत झोंकी थी। गुजरात के नतीजे से पता चलेगा कि दूसरे राज्यों में जड़ें जमाने की आप की कितनी संभावना है। कांग्रेस के लिए यह अस्तित्व की लड़ाई है। गुजरात में विधानसभा की 182 सीटें हैं। उधर, हिमाचल प्रदेश में क्या नतीजे आएंगे इस बारे में एग्जिट पोल भी कुछ साफ नहीं बता सके। यहां भी बीजेपी सत्ता में है। हिमाचल का ट्रेंड रहा है कि हर चुनाव में सत्ता बदलती है। ऐसे में गुरुवार को पता चलेगा कि बीजेपी इस ट्रेंड को तोड़कर फिर से सत्ता वापसी कर पाती है या नहीं। हिमाचल में कुल 68 सीटें हैं।

चुनाव आयोग ने परखीं मतगणना की तैयार‍ियां
गुजरात और हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए गुरुवार को सुबह आठ बजे से मतगणना शुरू होगी। मतगणना स्थलों के आसपास शांति व्यवस्था बनाने करने के लिए निषेधाज्ञा लागू की गई है। चुनाव आयोग के अनुसार, गुजरात की 182 विधानसभा सीटों के लिए 37 मतगणना केंद्र बनाए गए हैं। वहीं हिमाचल प्रदेश में 59 जगहों पर 68 केंद्र बनाए गए हैं। जहां पर मतगणना सुबह आठ बजे शुरू होगी।

सबसे पहले गिने जाएंगे पोस्‍टल बैलट
चुनाव आयोग ने बयान जारी कर कहा कि वोटों की गिनती का काम सुबह आठ बजे से शुरू होगा और सबसे पहले डाक मत पत्रों की गिनती की जाएगी। इसमें कहा गया है कि सुबह आठ बजे से पहले तक प्राप्त होने वाले डाक मतपत्रों की गिनती में शामिल किया जाएगा।

क‍ितने बजे से होगी EVM के वोटों की गिनती
चुनाव आयोग ने बताया क‍ि डाक मतपत्रों की गिनती शुरू होने के 30 मिनट के बाद इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (EVM) के वोटों की गिनती सुबह 8.30 बजे से शुरू होगी। कहा गया है कि हिमाचल प्रदेश, गुजरात के लिए प्रति विधानसभा सीट पर एक मतगणना ऑब्‍जर्वर तैनात किया गया है। चुनाव आयोग ने कहा कि ब‍िना रुकावट मतगणना प्रक्रिया के लिए हिमाचल प्रदेश और गुजरात में दो-दो स्‍पेशल ऑब्‍जर्वर मौजूद रहेंगे।

मतगणना के दौरान कैसी रहेगी व्‍यवस्‍था
चुनाव आयोग के मुताब‍िक, जिन राज्यों में हाल ही में चुनाव हुए हैं, वहां जिला प्रशासन ने मतगणना स्थलों के आसपास अपराध प्रक्रिया संहिता की धारा 144 (निषेधाज्ञा) लागू की गई है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि शांति भंग न हो। मतगणना के हर राउंड के बाद, निर्धारित फॉरमेट में र‍िजल्‍ट की लिस्‍ट‍िंग की जाती है। इस पर चुनाव अधिकारी और ऑब्‍जर्वर के साइन होते हैं और एक कॉपी उम्मीदवारों के साथ भी शेयर की जाती है।

एग्‍ज‍िट पोल ने गुजरात में बीजेपी को द‍िया बहुमत

गुजरात के 33 जिलों की 182 विधानसभा सीटों के लिए चुनाव दो चरणों में एक दिसंबर और पांच दिसंबर को हुआ था। 182 विधानसभा सीटों के लिए गुजरात में परंपरागत रूप से बीजेपी और कांग्रेस के बीच मुकाबला रहा है। हालांकि, इस बार आम आदमी पार्टी (AAP) के चुनाव मैदान में उतरने से राज्य में त्रिकोणीय मुकाबला देखने को मिला। चुनाव बाद के एग्‍ज‍िट पोल में गुजरात में बीजेपी के लगातार सातवीं बार सरकार बनाने का अनुमान जताया गया है। सत्तारूढ़ दल के 117 से 151 सीटों पर जीत दर्ज करने की संभावना जताई गई है, जबकि कांग्रेस को 16 से 51 सीटें मिलने का अनुमान लगाया गया है। वहीं, ‘आप’ को दो से 13 सीटें मिल सकती हैं।

गुजरात में लड़ रहे प्रमुख चेहरे
गुजरात में बहुमत के लिए 92 सीटों पर जीत जरूरी है। गुजरात में इस साल 66.31 फीसदी मतदान दर्ज किया गया था, जो 2017 के विधानसभा चुनावों में पड़े 71.28 प्रतिशत वोटों से कम है। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल, ‘आप’ के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार इसुदान गढ़वी, युवा नेता हार्दिक पटेल, जिग्नेश मेवाणी और अल्पेश ठाकोर समेत कुल 1,621 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला गुरु को होगा। गुजरात चुनाव में कुल 70 राजनीतिक दलों और 624 निर्दलीय उम्मीदवारों ने भाग्य आजमाया है।

हिमाचल में ‘राज’ बदलेगा या ‘रिवाज’
गुजरात के साथ ही सबकी निगाहें हिमाचल प्रदेश की ओर यह देखने के लिए टिकी हैं कि इस पर्वतीय राज्य में हर पांच साल पर राज बदलने का रिवाज कायम रहेगा या फिर यह रिवाज बदल जाएगा। बीते 12 नवंबर को हुए विधानसभा चुनाव में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी जहां विकास के अपने एजेंडे की बदौलत चुनावी सफलता दोहराने की उम्मीद कर रही है तो वहीं मुख्य विपक्षी कांग्रेस वोटरों से मौजूदा सरकार को सत्ता से बेदखल करने की चार दशक पुरानी परंपरा के बने रहने की आशा कर रही है। हिमाचल की 68 व‍िधानसभा सीटों में 412 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसला होगा, जिनमें मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के पुत्र विक्रमादित्य सिंह और पूर्व बीजेपी प्रमुख सतपाल सिंह सत्ती शामिल हैं।(साभार एन बी टी)

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