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गति शक्ति बदल सकती है देश की तस्वीर, PM मोदी ने रखे बड़े लक्ष्य

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नई दिल्ली. इस साल 75वें स्वतंत्रता दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘पीएम गति शक्ति प्रोजेक्ट’ का ऐलान किया था. अब 13 अक्टूबर को पीएम मोदी इस प्रोजेक्ट का अनावरण करेंगे. ये वो प्रोजेक्ट है जो देश की तस्वीर बदल सकती है. इसके जरिए साल 2024-25 तक बड़े स्तर पर देश की इंफ्रास्ट्रक्चर और कनेक्टिविटी पर काम किया जाएगा. कहा जा रहा है कि ये मोदी सरकार की एक ऐसी उपलब्धि होगी जिसे दिखाकर वो एक बार फिर से देश के पीएम बन सकते हैं.

इस मेगा मास्टर प्रोजेक्ट के तहत 2 लाख किलोमीटर राष्ट्रीय राजमार्गों का नेटवर्क, 1600 मिलियन टन (एमटी) के कार्गो को संभालने वाली ट्रेनें, गैस पाइपलाइन नेटवर्क को 35000 किलोमीटर तक दोगुना करना, कुल 220 हवाई अड्डों और हवाई पट्टियों का निर्माण, उद्योगों के लिए 25000 एकड़ क्षेत्र को विकसित किया जाएगा. इसमें 11 इंडस्ट्रियल कॉरिडोर, रक्षा उत्पादन में 1.7 लाख करोड़ रुपये का कारोबार हासिल करना और 2024-25 तक 38 इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण क्लस्टर और 109 फार्मा क्लस्टर शामिल हैं.

2024-25 तक बदल जाएगी तस्वीर
न्यूज़ 18 के पास इस प्रोजेक्ट से जुड़े दस्तावेज़ मौजूद हैं. इसके मुताबिक प्रस्तावित राष्ट्रीय मास्टर प्लान में सभी मौजूदा और प्रस्तावित आर्थिक क्षेत्रों को मल्टीमॉडल कनेक्टिविटी इन्फ्रास्ट्रक्चर के साथ एक ही प्लेटफॉर्म में तीन समय अवधि में मैप किया गया है, यानी 2014-15 की स्थिति, 2020-21 तक की गई उपलब्धियां और योजना बनाई गई है. लोगों, वस्तुओं और सेवाओं की आवाजाही के लिए 2024-25 तक हस्तक्षेप. व्यापक नक्शा देश भर में विभिन्न आर्थिक क्षेत्रों, बुनियादी ढांचे और उपयोगिताओं के पूरा होने की समयसीमा के आधार पर बुनियादी ढांचे के विकास के बारे में बारीकी से बताया गया है.

बड़े पैमाने पर हाईवे का निर्माण
राष्ट्रीय मास्टर प्लान सभी बुनियादी ढांचा मंत्रालयों के लिए 2024-25 तक लक्ष्य निर्धारित करता है. सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय की तरह, लक्ष्य 2 लाख किलोमीटर के राष्ट्रीय राजमार्ग, तटीय क्षेत्रों के साथ-साथ 5,590 किलोमीटर के चार या छह लेन के राष्ट्रीय राजमार्गों को पूरा करना और उत्तर-पूर्व में सभी राज्यों की राजधानियों को फोर-लेन राष्ट्रीय राजमार्ग से जोड़ा जाना है. राजमार्ग या दो दो लेन राष्ट्रीय राजमार्ग.

रेलवे का लक्ष्य
रेलवे के लिए, 2024-25 तक लक्ष्य 2020 में 1,210 मिलियन टन से 1,600 मिलियन टन के कार्गो को संभालना है, अतिरिक्त लाइनों को पूरा करके और दो समर्पित फ्रेट कॉरिडोर (DFC) के कार्यान्वयन से 51% रेलवे नेटवर्क को कम करना है. साथ ही पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप मोड में बनने वाले ईस्ट-वेस्ट, नॉर्थ-साउथ और ईस्ट कोस्ट डीएफसी के 4,000 किलोमीटर के लिए विस्तृत प्रोजेक्ट रिपोर्ट तैयार की जानी है.

पाइपलाइन की बिछेगी जाल
योजना के अनुसार, उद्योगों के लिए प्रमुख मांग और आपूर्ति केंद्रों को जोड़ने वाली अतिरिक्त 17,000 किमी लंबी ट्रंक पाइपलाइन का निर्माण करके 2024-25 तक देश में गैस पाइपलाइन नेटवर्क को दोगुना करके 34,500 किमी करने का लक्ष्य है. 2027 तक सभी राज्यों को ट्रंक नेचुरल गैस पाइपलाइन नेटवर्क से जोड़ने का लक्ष्य है बिजली लाइनों में, 2024-25 तक कुल ट्रांसमिशन नेटवर्क 4.52 लाख सर्किट किमी का लक्ष्य है और अक्षय ऊर्जा क्षमता को वर्तमान में 87.7 GW से बढ़ाकर 225 GW कर दिया जाएगा, जिसका उद्देश्य देश में सभी बिजली का 35% उत्पादन करना है.

बड़े बुनियादी ढांचे का लक्ष्य
आर्थिक क्षेत्र मंत्रालयों के लिए पीएम गतिशक्ति राष्ट्रीय मास्टरप्लान के तहत 2024-25 के लक्ष्य भी निर्धारित किए गए हैं. 2024-25 तक दोनों कॉरिडोर के लिए 10,000 करोड़ रुपये के लक्षित निवेश के साथ उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु में दो डिफेंस कॉरिडोर का विकास किया जाएगा. सरकार 2025 तक एयरोस्पेस और रक्षा वस्तुओं और सेवाओं में 35,000 करोड़ रुपये के निर्यात सहित 1,70,000 करोड़ रुपये के कारोबार का भी लक्ष्य बना रही है.(साभार न्यूज़18)

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